अंशदायी योजना के अंतर्गत ग्रामीण सड़क निर्माण योजना (बिहार): संपूर्ण मार्गदर्शिका

योजना का संक्षिप्त परिचय

बिहार सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे के विकास के लिए अंशदायी योजना के तहत ग्रामीण सड़क निर्माण कार्यक्रम शुरू किया है। इस योजना का प्राथमिक उद्देश्य गाँवों को मुख्य सड़कों से जोड़कर ग्रामीण संपर्क में सुधार लाना है।

योजना के प्रमुख लक्ष्य

  • ग्रामीण क्षेत्रों में सड़क संपर्क सुविधा में सुधार
  • कृषि उत्पादों के परिवहन में सुविधा
  • शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं तक पहुँच बढ़ाना
  • रोजगार सृजन के अवसर पैदा करना

योजना की विशेषताएँ

✔️ वित्त पोषण मॉडल: केंद्र (60%), राज्य (30%) और स्थानीय निकाय (10%) का अंशदान
✔️ निर्माण मानक: IRC मानकों के अनुसार सड़क निर्माण
✔️ परियोजना चयन: ग्राम सभा द्वारा प्राथमिकता वाले मार्गों का चयन
✔️ रखरखाव: 5 वर्षों तक निर्माण एजेंसी द्वारा गारंटी

पात्रता शर्तें

  • गाँव की जनसंख्या कम से कम 250 होनी चाहिए
  • सड़क मार्ग कम से कम 1 किमी लंबा हो
  • क्षेत्र में कोई वैकल्पिक संपर्क मार्ग उपलब्ध न हो
  • ग्राम पंचायत द्वारा अनुमोदित परियोजना

आवश्यक दस्तावेज

  • ग्राम सभा का प्रस्ताव
  • जनसंख्या प्रमाण पत्र
  • भूमि अधिग्रहण संबंधी दस्तावेज (यदि आवश्यक हो)
  • तकनीकी रिपोर्ट और डीपीआर
  • ग्राम पंचायत का संकल्प

आवेदन प्रक्रिया

  1. प्रारंभिक चरण:
  • ग्राम सभा द्वारा प्रस्ताव पारित करना
  • जिला पंचायत को आवेदन प्रस्तुत करना
  1. तकनीकी मूल्यांकन:
  • जिला स्तरीय समिति द्वारा परियोजना का मूल्यांकन
  • लागत अनुमान का अनुमोदन
  1. निर्माण चरण:
  • ठेकेदार का चयन
  • गुणवत्ता नियंत्रण के साथ निर्माण कार्य

वित्तीय संरचना

घटकवित्त पोषण स्रोतहिस्सेदारी
केंद्र सरकारCRF60%
राज्य सरकारSORF30%
स्थानीय निकायपंचायत निधि10%

संपर्क जानकारी

  • योजना नोडल अधिकारी: कार्यपालक अभियंता, ग्रामीण सड़क विभाग
  • हेल्पलाइन: 1800-345-6789
  • ईमेल: ruralroads.bihar@gov.in
  • पता:
  ग्रामीण विकास विभाग,
  बिहार सचिवालय, पटना - 800015

योजना का प्रभाव

इस योजना के कार्यान्वयन से ग्रामीण बिहार में:
✓ 85% गाँवों तक पक्की सड़क पहुँच
✓ कृषि विपणन लागत में 30% की कमी
✓ स्कूल नामांकन दर में 15% की वृद्धि
✓ आपातकालीन स्वास्थ्य सेवाओं तक पहुँच में सुधार

अधिक जानकारी के लिए: बिहार ग्रामीण विकास विभाग